पाकिस्तान-अफगानिस्तान के बीच शांति वार्ता से पहले तालिबान का बयान सामने आया है। तालिबान सरकार ने चेतावनी दी है कि वह सीमा पार हमलों का जवाब देने का अधिकार सुरक्षित रखती है, हालांकि उसके बलों को अपने वार्ता दल की विश्वसनीयता की रक्षा के लिए नए सैन्य अभियानों से बचने का निर्देश दिया गया है।
आपको बता दें कि पाकिस्तान ने एक बार फिर अपना असली चेहरा दिखाते हुए सीजफायर तोड़ फिर अफगानिस्तान पर एयरस्ट्राइक कर दी। इस बार पाक ने अफगानी क्रिकेटरों पर बम बरसाए हैं। एयरस्ट्राइक में तीन अफगान खिलाड़ियों समेत 8 लोगों की मौत की हो गई है और कई घायल बताए जा रहे हैं।
तालिबान ने क्या कहा?
तालिबान प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने अफगानिस्तान की शांतिपूर्ण समझौते के प्रति प्रतिबद्धता दोहराई, लेकिन इस्लामाबाद पर दुश्मनी भड़काने का आरोप लगाया है।
X पर कई पोस्टों में उन्होंने कहा कि रक्षा मंत्री मौलवी मोहम्मद याकूब मुजाहिद के नेतृत्व में एक उच्च-स्तरीय प्रतिनिधिमंडल पाकिस्तानी अधिकारियों
के साथ चर्चा करने के लिए दोहा रवाना हुआ है। मुजाहिद ने पक्तिका प्रांत में नागरिक इलाकों पर हाल ही में हुए पाकिस्तानी हवाई हमलों की निंदा की और उन्हें अफगानिस्तान की संप्रभुता का उल्लंघन बताया।
उन्होंने कहा, “कल रात, पाकिस्तानी सेना ने पक्तिका के रिहायशी इलाकों पर हवाई हमले किए, जिसके परिणामस्वरूप नागरिक हताहत हुए। ये बार-बार की जाने वाली हरकतें उकसावे वाली हैं और संघर्ष को लंबा खींचने के इरादे से की गई प्रतीत होती हैं।”
हमला करने के बाद मुनीर बोला- शांति चुनें
पाकिस्तानी सेना प्रमुख फील्ड मार्शल सैयद आसिम मुनीर ने आज सुबह अफगानिस्तान को कड़ी चेतावनी देते हुए काबुल से शांति और अराजकता में से एक चुनने और कथित तौर पर पाकिस्तान के अंदर हमले करने के लिए अफगानिस्तान की जमीन का इस्तेमाल करने वाले आतंकवादी समूहों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करने का आग्रह किया।
मुनीर की यह टिप्पणी शुक्रवार देर रात पाकिस्तान द्वारा अफगानिस्तान में सीमा पार आतंकवादी ठिकानों पर ताजा हवाई हमले करने के एक दिन बाद आई है। यह हमला दोनों पक्षों द्वारा तनाव कम करने के उद्देश्य से दो दिवसीय अस्थायी युद्धविराम को बढ़ाने पर सहमति जताने के कुछ ही घंटों बाद हुआ था। एबटाबाद के काकुल स्थित पाकिस्तान सैन्य अकादमी (पीएमए) में पासिंग-आउट परेड को संबोधित करते हुए सेना प्रमुख ने कहा कि तालिबान
शासन को अफगान धरती से सक्रिय आतंकवादियों के खिलाफ निर्णायक कार्रवाई करनी चाहिए।